Tuesday, 24 December 2013



भाग दौड़ भरी ज़िन्दगी में अब , सुकूंन खो गया है कहीं ,

सब कुछ है पास में , फिर भी , बहुत कुछ खो गया है कहीं ,

हालात कुछ ऐसे हुए हैं , ज़िन्दगी के अब ,

कि साँसे तो हैं , जिस्म भी जाग रहा है अभी ,

लेकिन ये " रूह " है ~ ♥ कल्प ♥ ~ कि खो गयी है कहीं !!

~ ♥ कल्प ♥ ~ 

उजली चाँदनी रात में , चाँद खो गया है कहीं ,

वो समाये हैं मुझमें कुछ ऐसे , कि मैं खो गया हूँ कहीं ,

हर सुबह उनकी भीगी ज़ुल्फें , जगाती हैं मुझे ,

और मैं हूँ कि उनकी पलकों तले खो गया हूँ कहीं !!

~ ♥ कल्प ♥ ~ 

Wednesday, 11 December 2013




ज़िन्दगी के हसीन पलों को चुरा कर मुट्ठी में जकड़ लेता हूँ ,

ख़ुशी के कुछ आँसू पलकों पे सजा कर हँस लेता हूँ ,

बीतते हुए पल बीत ही जाते हैं , ये रुकते कब हैं ,

अपनी छोटी सी दुनिया की ख़ुशी की ख़ातिर ,

हर रोज़ भगवान् से दुआ कर लेता हूँ !!



Monday, 23 September 2013

आज " मुस्कान " का जन्मदिन है

बहुत सारी मंगल कामनाओं  के साथ

ढेर सारा प्यार एवं आशीर्वाद



Friday, 20 September 2013

बदलों के रंग भी अजीब होते हैं ,
ज़िन्दगी की तरह !

कभी बरसते हैं - भिगो जाते हैं ,
सावन की तरह !

कभी तन्हाई में दिखाई  नहीं देते ,
अश्कों की तरह !

हर रंग में कुछ छुपा है राज़ ,
बंद मुट्ठी में किस्मत की तरह !

कुछ " ख्व़ाब " अब भी बसे इन आखों  में " कल्प "

बचपन की तरह !!

~ ♥ कल्प ♥ ~ 

Friday, 14 June 2013

कुछ अधूरी सी लाइने .... कुछ अधूरे से अरमान ...
आधी - अधूरी सी ज़िन्दगी में ... ढूंढें पूरे ख़ाब ...

ज़िन्दगी ने बहुत खूबसूरत लम्हें दिए ... जीने के लिए ....
साँसे दी ...हंसी दी , ख़ुशी दी ... और साथ में कुछ ग़म भी दिए ...
वक़्त के हर उस लम्हे को हमने जकड़ के रखा ...
जहाँ ग़मो ने अपनी चादर फैला रखी थी ...
हम हर हंसी - ख़ुशी में जिए लम्हों को ...धीरे - धीरे भूलते गए ....

कभी जाग कर ... थपकियां देकर ...  रात भर ग़मो को सुलाता हूँ ...

लेकिन ... कम्बख्त ... ये वो पल हैं जो ... न तो खुद सोते हैं - और न सोने देते हैं ...
ज़िन्दगी फिर ...न चाहते हुए भी .... वहीँ ठहर जाती है ...
और फिर वक़्त कुछ रुक सा जाता है ...

~ ♥ कल्प वर्मा ♥ ~